प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ 2025 में फिल्म अभिनेत्री ममता कुलकर्णी को किन्नर अखाड़े के महामंडलेश्वर पद से सम्मानित किया था । लेकिन जब से ममता कुलकर्णी को महामंडलेश्वर बनाया गया था तब से किन्नर अखाड़े में घमासान शुरू हो गया जिसके चलते अब ममता कुलकर्णी को किन्नर अखाड़े के महामंडलेश्वर पद से हटा दिया गया है । वहीं लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी से भी आचार्य महामंडेलश्वर का पद छीन लिया गया है क्योंक उन्होंने ही ममता कुलकर्णी को महामंडलेश्वर बनाया था । किन्नर अखाड़े के संस्थापक ऋषि अजय दास ने 31 जनवरी को दोनों के खिलाफ ये बड़ा एक्शन लिया है ।

महाकुंभ 2025 में संन्यासी बनी एक्ट्रेस ममता कुलकर्णी को किन्नर अखाड़े के महामंडलेश्वर पद से हटाया ; लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी के ख़िलाफ़ भी लिया एक्शन

ममता कुलकर्णी को महामंडलेश्वर पद से हटाया

रिपोर्ट्स की मानें तो, आचार्य महामंडलेश्वर लक्ष्मीनारायण त्रिपाठी ने देशद्रोह की आरोपी ममता कुलकर्णी को अखाड़े में शामिल किया और उनकी जानकारी के बिना महामंडलेश्वर बनाया था ।

वहीं लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी का कहना है कि अजय दास किस हैसियत से कार्रवाई करेंगे। वह तो किसी पद पर ही नहीं है। उनको तो पहले से ही अखाड़े से निकाला जा चुका है। किन्नर अखाड़े की ओर से शुक्रवार को मीडिया के सामने इस मुद्दे को लेकर वार्ता हो सकती है । दूसरी तरफ़ कहा जा रहा है कि, फिल्मी दुनिया से ताल्लुक रखने वाली ममता कुलकर्णी को इन्होंने महामंडलेश्वर बना दिया। इससे सनातन धर्म की छवि धूमिल हो रही है। इससे मजबूर होकर लक्ष्मी नारायण के खिलाफ कार्रवाई करनी पड़ी।

बता दें कि, ममता कुलकर्णी ने महाकुंभ में अपना पिंडदान किया और संन्यास की दीक्षा ली थी । किन्नर अखाड़े ने ममता कुलकर्णी का पट्टाभिषेक कर उन्हें महामंडलेश्वर की उपाधि दी थी । इस विधि के अनुसार ममता कुलकर्णी को नया नाम भी दिया, श्री यामाई ममता नंद गिरि दिया गया था ।

ममता कुलकर्णी ने बताया था क‍ि उन्‍होंने 23 साल पहले अपने गुरु श्री चैतन्य गगन गिरि से कुपोली आश्रम में दीक्षा ली थी । अब पूरी तरह से संन्यासिनी बन गई हैं। उन्‍होंने कहा था कि यह मेरा सौभाग्य होगा कि महाकुंभ की पवित्र बेला में संन्यास लिया ।