जाने जान एक अकेली माँ और एक शिक्षक की कहानी है जो पुलिस को बेवकूफ बनाने की कोशिश करती है । माया डिसूजा (करीना कपूर खान) अपनी बेटी तारा (नायशा खन्ना) के साथ कलिम्पोंग में रहती है । नरेन व्यास (जयदीप अहलावत), एक गणित शिक्षक, उनका पड़ोसी है । नरेन उससे प्यार करता है लेकिन अपनी भावनाओं को उसके सामने कहने से डरता है । वह रोजाना एग फ्राइड राइस का पार्सल लेने के लिए उसके फूड ज्वाइंट पर आता है । वह उससे बात करने की पूरी कोशिश करता है लेकिन उसके सामने कुछ कह नहीं पाता  । सब कुछ ठीक चल रहा होता है लेकिन एक दिन इंस्पेक्टर अजीत म्हात्रे (सौरभ सचदेवा) माया के जीवन में आता है और इसके बाद सब कुछ बदल जाता है । माया एक प्रमुख संदिग्ध बन जाती है। तभी नरेन उसके बचाव में आता है। हालाँकि, जांच अधिकारी, करण आनंद (विजय वर्मा), जो संयोग से नरेन का पुराना दोस्त भी है, को एहसास होता है कि कुछ गड़बड़ है । उसने फैसला किया कि जब तक उसे सच्चाई का पता नहीं चल जाता, वह नहीं रुकेगा । आगे क्या होता है इसके लिए पूरी फ़िल्म देखनी होगी ।

Jaane Jaan Movie Review: रोमांचक ट्विस्ट एंड टर्न्स, उम्दा निर्देशन और शानदार परफ़ॉर्मेंस के लिए देख सकते है जाने जान

जाने जान कीगो हिगाशिनो के जापानी उपन्यास 'द डिवोशन ऑफ सस्पेक्ट एक्स' से प्रेरित है । कहानी मनोरंजक है । सुजॉय घोष की पटकथा बांधे रखती है। सुजॉय घोष और राज वसंत के डायलॉग अच्छे हैं और उनमें से कुछ काफी सार्थक और शार्प हैं ।

सुजॉय घोष का निर्देशन बढ़िया है । वह कहानी को विज्ञासा बढ़ाने वाली नहीं बनाते। फिर भी, वह सुनिश्चित करते हैं कि दर्शक बोर न हों । दर्शकों को कहानी में पूरी तरह से डूबो देते हैं, कि आगे क्या होगा । कुछ दृश्य उभर कर सामने आते हैं, जैसे अजित का अचानक माया के घर जाना, करण का ड्रैगन मोमोज खाना, नरेन रात में सड़क के बीच में डोजो का अभ्यास करना आदि । रहस्य अप्रत्याशित है और निश्चित रूप से दर्शकों को आश्चर्यचकित कर देंगे ।

वहीं कमियों की बात करें तो, कुछ सीक्वंस असंबद्ध हैं। नरेन की हरकतें पचाना मुश्किल है । किसी को भी हैरानी हो सकती है कि वह कोई बेहतर समाधान सोच सकता था । कुछ प्रश्न अनुत्तरित रह जाते हैं ; दरअसल, फिल्म अचानक ख़त्म हो जाती है । यह बहुत अच्छा होता अगर निर्माताओं ने इस रहस्य को उजागर न करने के बजाय इस पर खुल कर बात की होती । अंत में, जाने जान एक लोकप्रिय हिंदी फिल्म फ्रेंचाइजी के समान लगती है और तुलना होना स्वाभाविक है ।

अभिनय की बात करें तो, करीना कपूर खान शानदार प्रदर्शन करती हैं। वह एक कठिन भूमिका को बिना ओवर किए काफ़ी अच्छे तरीके से निभाती हैं । जयदीप अहलावत ने हमेशा की तरह सिक्सर लगाया। पहले भी उन्हें चुनौतीपूर्ण भूमिकाओं में देखा गया है और फिर भी, वह निश्चित रूप से दर्शकों को आश्चर्यचकित करेंगे। हालाँकि, कैफ़े के परिचय दृश्य में वह बहुत अधिक तनावग्रस्त दिखाई देते हैं। विजय वर्मा शाइन करते हैं > वह अपने प्रदर्शन को सहज बनाते हैं। वह, विशेष रूप से, मसालेदार मोमो दृश्य में प्रभावशाली है । सौरभ सचदेवा छाप छोड़ते हैं । नायशा खन्ना सभ्य हैं । लिम लैशराम (प्रेमा) और डेनज़ोम लेप्चा (बाबू) अच्छा सपोर्ट करते हैं। मार्कुश लेप्चा (डिपोक) ठीक है, लेकिन उसका ट्रैक थोड़ा जबरदस्ती का लगता है। कर्मा तकापा (सुंदर सिंह; पुलिसकर्मी) काफी अच्छे है। हबीब अल ऐड्रोस (नायडू; फोरेंसिक डॉक्टर) एक छोटी भूमिका में अच्छा करते हैं ।

कुल मिलाकर, जाने जान एक मनोरंजक फिल्म है । यह फ़िल्म बेमिसाल निर्देशन, रोमांचक ट्विस्ट एंड टर्न्स और करीना कपूर खान, जयदीप अहलावत और विजय वर्मा के शानदार प्रदर्शन के कारण देखने लायक बनती है ।